लुधियाना/जालंधर। पहाड़ों पर बारिश और बर्फबारी के कारण पूरे उत्तर-भारत में ठिठुरन बढ़ गई है। पंजाब में सात साल में ऐसा पहली बार हुआ है जब दिसंबर मध्य तक 36 घंटे में 17 एमएम बारिश रिकॉर्ड हुई है। कई जगह बुधवार-वीरवार की मध्य रात्रि 2 बजे से लेकर शुक्रवार दोपहर 2 बजे तक जमकर बारिश हुई, जबकि कई इलाकों में हल्की बूंदाबांदी होती रही। इससे अधिकतम तापमान 14 डिग्री सेल्सियस तक बढ़ा, जबकि न्यूनतम पारा भी 13 डिग्री सेल्सियस तक ही नीचे दर्ज हुआ।
ऐसे में शुक्रवार को दिन-रात के तापमान में सिर्फ 1 डिग्री सेल्सियस का अंतर रहने से दिन-रात एक जैसे रहे। आईएमडी के मुताबिक शुक्रवार सुबह 8.30 बजे तक 17 एमएम बारिश रिकॉर्ड हुई है। वहीं, दिसंबर महीने की एवरेज 13.3 एमएम बारिश के मुकाबले 4 एमएम बारिश सरप्लस है। इससे पहले 2017 में पूरे महीने की 17.7 एमएम बारिश रिकॉर्ड हुई है। सूबे के किसानों को पीएयू ने सलाह दी है कि वे अगले 24 घंटों तक फसलों में किसी भी प्रकार का स्प्रे न करें। वहीं, 5 राज्यों के लिए ऑरेंज अलर्ट भी जारी किया गया है।
अगले 24 घंटों के लिए यूपी, बिहार, झारखंड और गुजरात में बारिश की चेतावनी दी गई है। उधर कश्मीर, उत्तराखंड में बर्फबारी जारी है। वहीं, हरियाणा में भी कोहरा छाएगा। मौसम खराब होने के चलते उत्तराखंड में स्कूलों में छुट्टी कर दी गई है। पंजाब में अगले 24 घंटों तक बादल छाएंगे, ठंडी हवाएं चलेंगी और दिन का तापमान गिरेगा। कई जगह बारिश के भी आसार हैं। शनिवार रात से रविवार सुबह तक घना कोहरा छाने की चेतावनी दी गई है।
बर्फ से ढका वैष्णो देवी भवन, हेलिकॉप्टर सेवा दूसरे दिन भी बंद
जम्मू-कश्मीर की त्रिकुटा पहाड़ियों में बारिश और ताजा बर्फबारी के बाद कोहरे के चलते दूसरे दिन भी कटरा से सांझी छत के बीच हेलिकाॅप्टर सेवा बंद रही। भैरों घाटी की यात्रा भी रोक दी गई है। वहीं, दोनों पारंपरिक तथा नए मार्ग पर यात्रा जारी है। मौसम में सुधार होते ही हेलिकॉप्टर सेवा शुरू की जाएगी।
हिमाचल फ्रीज : 300 सड़कें बंद, हरिपुरधार में 200 टूरिस्ट फंसे, इनमें पंजाब-हरियाणा के भी
दो दिन से हो रही बारिश और बर्फबारी से हिमाचल शीतलहर की चपेट में है। ज्यादातर क्षेत्रों का पारा शून्य से नीचे पहुंच गया है। बर्फबारी के कारण 6 एनएच समेत 300 सड़कें बंद हो गई हैं। हरिपुरधार में करीब 200 टूरिस्ट फंस गए हैं। ये सभी पंजाब, हरियाणा और दिल्ली के हैं। उन्होंेने एक मंदिर में शरण ले रखी है। पानी की पाइपें जम गई हैं। मंडी के कई क्षेत्रों में करीब 40 साल बाद बर्फ गिरी है।