यूपी के लखनऊ से एयर लिफ्ट हुई उन्नाव पीड़िता गुरुवार रात दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल पहुंची। अस्पताल के आपातकालीन विभाग के आईसीयू में पीड़िता को भर्ती किया है जहां उसकी हालत गंभीर बनी हुई है।
पीड़िता का इलाज कर रहे डॉक्टरों का कहना है कि उसके कई अंग जल जाने के कारण मल्टी ऑर्गन फेल होने का खतरा है, इसलिए डॉक्टरों का कहना है कि आईसीयू में कब तक वह रहेगी इस बारे में कुछ भी नहीं कह सकते।
डॉक्टरों का कहना है कि सबसे जरूरी है पीड़िता को गंभीर हालत से बाह निकालना है। सफदरजंग के ही एक डॉक्टर का कहना है कि पीड़िता के 90 फीसदी जले होने की वजह से यह केस एक बहुत बड़ी चुनौती है। इस चुनौती को वे कहां तक ले सकते हैं? इसे लेकर तमाम प्रयास कर रहे हैं। दोपहर तक मेडिकल बुलेटिन आ सकता है।
क्या है बर्न पीड़ितों के इलाज के इंतजाम, डॉक्टरों ने बताया
आरएमएल अस्पताल में विभागाध्यक्ष डॉ. आरके श्रीवास्तव का कहना है कि त्वचा को लेकर देश में गंभीर हालात हैं। जबकि इससे जुड़ी घटनाएं चरम पर हैं। अगर दिल्ली की ही बात करें तो आए दिन आग की घटनाएं और उसमें लोगों के झुलसने के मामले सामने आ रहे हैं।
देश में करीब 8 त्वचा बैंक हैं जबकि जलने के कारण हर साल करीब सात से आठ लाख मरीज अस्पतालों में दाखिल होते हैं। उन्होंने बताया कि करीब 40 फीसदी से ज्यादा ऊपरी त्वचा जले होने के कारण त्वचा की आवश्यकता पड़ती है।
पीड़िता बुधवार(5 दिसंबर) को लाई गई दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल
पीड़िता के साथ एक परिजन भी अस्पताल में मौजूद है। गुरुवार शाम करीब 6 बजे लखनऊ से दिल्ली रवाना होने के बाद इंदिरा गांधी अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर एयर एंबुलेंस पहुंची।
रात 8 बजकर 22 मिनट पर हवाई अड्डे से सफदरजंग अस्पताल तक एंबुलेंस के लिए दिल्ली पुलिस ने ग्रीन कॉरिडोर बनाया था। करीब 100 यातायात पुलिस और 50 पुलिस जवानों की मदद से ग्रीन कॉरिडोर के जरिए पीड़िता को अस्पताल पहुंचाया। इससे पहले उत्तर प्रदेश महिला आयोग की उपाध्यक्ष सुषमा भी अस्पताल पहुंची। उन्होंने बताया कि वह पीड़िता से मिलने आई हैं।
क्या बोलीं यूपी महिला आयोग की उपाध्यक्ष
उत्तर प्रदेश महिला आयोग की उपाध्यक्ष सुषमा ने ये भी कहा कि भले ही उत्तर प्रदेश पुलिस ने सभी आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया हो, लेकिन आयोग इन आरोपियों को फांसी देने की मांग कर रहा है।
सफदरजंग अस्पताल से मिली जानकारी के अनुसार अस्पताल के बर्न विभाग के वरिष्ठ डॉ. शलभ की निगरानी में तीन वरिष्ठ डॉक्टरों की टीम ने पीड़िता का उपचार शुरू कर दिया है।
पीड़िता का करीब 90 फीसदी शरीर आग की चपेट में आने के कारण उसकी हालत बेहद गंभीर बनी हुई है। डॉक्टरों का कहना है कि फिलहाल अगले 24 घंटे तक वे कुछ भी जानकारी नहीं दे सकते हैं। आईसीयू में भर्ती पीड़िता का उपचार शुरू कर दिया है।
कुछ मेडिकल जांच भी की गई हैं जिनकी रिपोर्ट शुक्रवार सुबह आएगी। इन रिपोर्ट के आधार पर ही आगे की जानकारी दी जाएगी। मेडिकल टीम में तीन वरिष्ठ डॉक्टर के अलावा पांच सीनियर रेजीडेंट, चार नर्से भी शामिल हैं।