झज्जर : अनाज मंडी में किसानों की संख्या बढ़ाने को लेकर सोमवार को झज्जर अनाज मंडी में अखिल भारतीय किसान सभा (अभाकिस) व आढ़तियों ने धरना दिया। मांग उठाते हुए कहा कि मंडियों में काफी कम संख्या में किसानों को बुलाया जा रहा है। जिस कारण ना तो आढ़तियों को काम मिल रहा है और ना ही मजदूरों को। ऊपर से जिन किसानों ने बाजरा निकालकर घर में रखा हुआ है, वे अपनी बारी का इंतजार कर रहे हैं। इस प्रणाली के कारण हर कोई परेशान हो रहा है। आढ़तियों ने किसानों की संख्या बढ़ाने को लेकर पहले भी अधिकारियों को शिकायत दी, लेकिन कोई समाधान नहीं हुआ तो वे अनाज मंडी में शेड के नीचे धरने पर बैठ गए। जैसे ही धरने की सूचना मिली तो एसडीएम शिखा, नायब तहसीलदार ईश्वर सिंह व मार्केट कमेटी सचिव सविता सैनी मौके पर पहुंची। उन्होंने आढ़तियों से बातचीत की और समझाने का प्रयास किया। आढ़तियों ने प्रतिदिन कम से कम 400-500 किसानों का शेड्यूल जारी करने की मांग की। जो फिलहाल मात्र 50-60 तक बड़ी मुश्किल से पहुंचता है।
इस पर एसडीएम व नायब तहसीलदार ने आश्वासन दिया कि आढ़ती अपनी शिकायत लिखित में दें उसे उच्चाधिकारियों के पास भेजकर किसानों की संख्या बढ़ाने का पूरा प्रयास किया जाएगा। इस पर आढ़तियों ने किसानों की संख्या बढ़ाने की शिकायत दी और करीब दो घंटे तक चले धरने को भी आश्वासन के बाद समाप्त कर दिया। उन्होंने कहा कि अगर किसानों की संख्या नहीं बढ़ी तो वे फिर कड़े कदम उठाने को मजबूर होंगे। धरनारत आढ़ती हरेंद्र सिलाना, राव नरेंद्र, चरण सिंह दलाल, श्रीभगवान, जसबीर, सतबीर मल्हान, धर्मपाल, देवेंद्र व अखिल भारतीय किसान सभा से जयप्रकाश बैनीवाल, सिलकराम, रामचंद्र यादव, जयपाल मांगावास ने कहा कि फिलहाल सभी मंडियों में किसानों की संख्या कम होने के कारण परेशानी बनी हुई है। आढ़तियों ने काम के लिए मजदूर तो बुलाए हुए हैं,
लेकिन उनकी प्रतिदिन बड़ी मुश्किल से 30-50 रुपये ही मजदूरी बन पाती है। इसलिए मजदूरी भी वापस जाने की स्थिति में हैं। ऐसे में आढ़तियों के सामने समस्या हो जाएगा। उन्होंने किसानों की संख्या जल्द से जल्द बढ़ाने की मांग की। – पूर्व प्रधान श्रीभगवान ने कहा कि वे कई बार अधिकारियों को किसानों की संख्या बढ़ाने के लिए शिकायत दे चुके हैं। लेकिन कोई समाधान नहीं हुआ। इसलिए उन्हें मजबूरन धरने पर बैठना पड़ा। शेड्यूल के अनुसार किसानों की संख्या बढ़ाई जाए। अगर ऐसा नहीं होता है तो वे कड़े कदम उठाने को मजबूर होंगे। – पूर्व प्रधान चांद सिंह ने कहा कि किसानों की संख्या कम होने के कारण सभी आढ़तियों को काम नहीं मिल रहा। वहीं किसान भी अपनी बारी का इंतजार कर रहे हैं। शेड्यूल में नाम नहीं आने के कारण किसान मंडी के चक्कर लगा रहे हैं। सरकार किसानों की समस्या को हल करते हुए किसानों की संख्या बढ़ाए।